राष्ट्रीय लोक अदालत 11 फरवरी को

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राष्ट्रीय लोक अदालत मुकदमों के निस्तारण का सस्ता, सुलभ एवं सौहार्द्रपूर्ण उपाय हैं — सचिव मीणा

सीकर 08 फरवरी। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण एवं राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वाधान में सीकर न्यायक्षेत्र स्थित समस्त न्यायालयों एवं राजस्व न्यायालयों में 11 फरवरी 2023 को इस वर्ष की प्रथम राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया जा जायेगा जिसमें राष्ट्रीय लोक अदालत में पक्षकारों की सहमति से एवं उनके मध्य राजीनामा के आधार पर न्यायालय में लंबित राजीनामा योग्य प्रकरणों का निपटारा किया जाएगा।
राष्ट्रीय लोक अदालत की प्रक्रिया एवं महत्व से अवगत कराते हुए सचिव जिला विधिक प्राधिकरण, सीकर धर्मराज मीणा ने बताया कि राष्ट्रीय लोक अदालत मुकदमों के निस्तारण का सस्ता, सुलभ एवं सौहार्द्रपूर्ण उपाय हैं। लोक अदालत के माध्यम से निपटाए गए प्रकरणा में पक्षकारों द्वारा कोर्ट फीस के रूप में अदा किये गये कोर्ट फीस के स्टाम्पों की राशि पक्षकारों को लौटा दी जाती हैं। जिससे पक्षकारों को सस्ता न्याय प्राप्त होता है। लोक अदालत की प्रक्रिया पक्षकारों की सहमति मात्र पर आधारित होने से इसमें कोई तकनीकी पेचीदगी नही होती हैं। इस प्रकार यह प्रक्रिया पक्षकारों के मध्य पारस्परिक वैमनस्य को दूर कर पारस्परिक सौहार्द्र एवं सामंजस्य की स्थापना करने में भी सहायक साबित होती हैं। लोक अदालत के माध्यम से निपटाये गये प्रकरणों में फैसला अंतिम होता है और इसकी कोई अपील नहीं हो सकती। जिसके कारण पक्षकारों को दीर्घकालीन मुकदमेबाजी से छुटकारा प्राप्त होता हैं।
उन्होंने बताया कि लोक अदालत के माध्यम से न्यायालय में लंबित मुकदमों के अलावा ऐसे संभावित प्रकरणों को भी प्री-लिटिगेशन के रूप में निपटाया जा सकता है। जिसमें भविष्य में मुकदमेबाजी की संभावना हो। मूल रूप से ऐसे प्रकरण बैंकों द्वारा पक्षकारों को दिये गये ऋणों की किश्त वसूली बाबत बिजली टेलिफोन के बकाया बिलों की वसूली से संबंधित होते हैं। प्री-लिटिगेशन के माध्यम से निपटाये गये ऐसे प्रकरणों में देय राशि का भुगतान पक्षकारों की सहमति के आधार पर किया जाकर मुकदमेबाजी से बचा जा सकता है और मुकदमे की कोई फीस भी अदा नहीं करनी होती है। लोक अदालत के संबंध में किसी एक पक्षकार अथवा दोनों पक्षकारों की प्रार्थना पर प्रकरण सुनवाई के लिए संबंधित न्यायालय द्वारा लोक अदालत के लिए चिन्हित किया जा सकता है। लोक अदालत में राजीनामा योग्य चिन्हित किये गये मुकदमों की सुनवाई के लिए नियत तिथि को उपस्थिति बाबत पक्षकारों को नोटिस के माध्यम से सूचना भेजी जा रही हैं।
सचिव मीणा ने बताया कि राष्ट्रीय लोक अदालत में पक्षकारों की प्रार्थना पर सीकर न्यायक्षेत्र स्थित न्यायालयों द्वारा चिन्हित कुल लंबित 6427 मामले एवं प्री-लिटिगेशन के कुल 19143 मामलों की सुनवायी की जायेगी। लोक अदालत में प्रकरणों की सुनवाई हेतु सीकर जिला मुख्यालय एवं फतेहपुर लक्ष्मणगढ़, श्रीमाधोपुर, नीमकाथाना रींगस तथा दॉतारामगढ़ तालुकाओं एवं खण्डेला एवं धोद मुख्यालय पर कुल 18 बेंचे गठित की गयी है जो सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक प्रकरणों की सुनवाई एवं राजीनामें की कार्यवाही करेगी।



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